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देश का सबसे अमीर भिखारी, 8 फ्लेट का मालिक, छापेमारी में 460 करोड़ कैश बरामद; जानें सच्चाई

Country's richest beggar, owner of 8 flats, 460 crore cash recovered in raids; know the truth
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भरत जैन

देश का सबसे अमीर भिखारी,  8 फ्लेट का मालिक, छापेमारी में 460 करोड़ कैश बरामद; जानें सच्चाई
 

 रिपोर्ट्स में दावा किया गया कि भरत जैन देश के सबसे अमीर भिखारी है।
सत्यापन के लिए न्यूज़मोबाइल ने की खोज और पाया कि ये दावे गलत हैं।
वास्तविकता में भरत जैन की कुल संपत्ति केवल ₹7.5 करोड़ है।
भरत जैन ने आईआईएम कोलकाता से बीई की है जो दावे के खिलाफ सबूत है।

Today Haryana:आजकल मीडिया में मुंबई के एक भिखारी 'भरत जैन' की चर्चा हो रही है, जिन्हें देश का सबसे अमीर भिखारी बताया जा रहा है। इसके पीछे की सच्चाई क्या है, उसका सत्यापन करने के लिए हमने खोज की है और पाया कि ये दावे बिल्कुल गलत हैं। इस लेख में हम आपको भरत जैन के बारे में सटीक जानकारी प्रदान करेंगे।

वास्तविक संपत्ति
रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि भरत जैन की कुल संपत्ति 460 करोड़ रुपये है और उनके पास मुंबई में 8 विला, 8 महंगे अपार्टमेंट, 2 बंगले, 4 पत्नियां और एक होटल है। हालांकि, न्यूज़मोबाइल की खोज से पता चलता है कि भरत जैन की कुल संपत्ति केवल 7.5 करोड़ रुपये है। वे मुंबई में दो बेडरूम के एक फ्लैट और ठाणे में दो दुकानों के मालिक हैं।

शिक्षा का सत्यापन
रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि भरत जैन ने कोलकाता के आईआईएम से बीई किया है, लेकिन न्यूज़मोबाइल की खोज से पता चलता है कि इस दावे का कोई सबूत नहीं है। एक रिपोर्ट में आईआईएम कोलकाता में उनकी कोई भी आधिकारिक पढ़ाई नहीं हुई है और यह दावा गलत साबित होता है।

इस खबर की सच्चाई स्पष्ट है कि भरत जैन को देश का सबसे अमीर भिखारी बताने वाली रिपोर्ट्स गलत हैं। न्यूज़मोबाइल की खोज से पता चलता है कि वास्तविकता में उनकी संपत्ति केवल 7.5 करोड़ रुपये है और उनकी शिक्षा के दावे का कोई सबूत नहीं है।

संक्षेप: भरत जैन की दावों की सच्चाई की जांच में न्यूज़मोबाइल ने पाया कि उनकी संपत्ति केवल 7.5 करोड़ रुपये है और उनकी शिक्षा के दावे का कोई सबूत नहीं है। इससे पता चलता है कि उन्हें देश का सबसे अमीर भिखारी नहीं माना जा सकता।

तालिका: भरत जैन की संपत्ति

प्रकार    मूल्य (रुपये)
संपत्ति कुल    7.5 करोड़
मुंबई फ्लैट    1.2 करोड़
ठाणे दुकानें    30,000/मास
  
इस लेख से हमें यह सिखने को मिलता है कि इंटरनेट पर उपलब्ध जानकारी की सत्यापन करना महत्वपूर्ण है। भरत जैन के मामूल दावों की जांच ने हमें दिखाया कि उनकी सच्चाई कुछ और ही है।